Bihar School Examination Board Annual Exam में शामिल होने के लिए छात्र की अपने स्कूल में 75% उपस्थिति होनी चाहिए। ऐसा न करने पर छात्रों को बोर्ड परीक्षा में बैठने की अनुमति नहीं दी जाएगी, इस संबंध में शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव की ओर से आदेश जारी किये गये हैं।
Bihar Board Annual Exam में शामिल होने के लिए अब 75% उपस्थिति अनिवार्य कर दी गई है। अगर 10वीं और 12वीं कक्षा के किसी भी छात्र की उपस्थिति 75% से कम है, तो उसे बोर्ड परीक्षा में शामिल होने की अनुमति नहीं दी जाएगी। यह आदेश बिहार शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव केके पाठक ने जारी किया है। वहीं, राज्य में संचालित सभी कोचिंग संस्थानों के खुलने का समय भी तय कर दिया गया है।
शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव की ओर से सभी जिलाधिकारियों को जारी आदेश में कहा गया है, कि संबंधित अधिकारियों के जिलों में सभी कोचिंग संस्थान सुबह 9 बजे से शाम 4 बजे तक बंद रहेंगे। राज्य में कोचिंग संस्थान शाम 4 बजे के बाद खुलेंगे, साथ ही जिलाधिकारियों को इसका सख्ती से पालन कराने को भी कहा गया है।
बिहार में कोचिंग चलाने के लिए नये नियम जारी
- 1: (क) सभी कोचिंग संस्थानों की कक्षाओं का समय हमारे स्कूलों के समान ही है। हमारे विद्यालय प्रातः 09 बजे से सायं 04 बजे तक खुलते हैं। लेकिन इस दौरान कोचिंग संस्थान भी चलते रहते हैं. इसके परिणामस्वरूप हमारे (छात्र चाहे किसी भी कक्षा के हों) कोचिंग संस्थानों में जाते हैं और स्कूल कम जाते हैं। यह बात विशेषकर कक्षा 09 से 12 तक के विद्यार्थियों पर लागू होती है।
- (ख) यह बताया गया है कि सरकारी शिक्षक भी स्कूल समय के दौरान कोचिंग संस्थानों में जाकर पढ़ाते हैं।
- (ग) यह भी अवगत कराया गया है कि कुछ कोचिंग संस्थानों के संचालन में हमारे सरकारी स्कूलों के शिक्षकों की भी प्रत्यक्ष/अप्रत्यक्ष भूमिका होती है।
- 2: उपरोक्त के दृष्टिगत आपसे अनुरोध है कि “स्कूल मॉनिटरिंग सिस्टम” की स्थिरता के साथ-साथ कक्षाओं में विद्यार्थियों की उपस्थिति पर भी बल देना होगा, विशेषकर कक्षा 09 से 12वीं तक के विद्यार्थियों के लिए। इस आशय का एक नीतिगत निर्णय बिहार विद्यालय परीक्षा समिति द्वारा लिया गया है और नोटिस भी प्रकाशित किया गया है (प्रति संलग्न) कि 75% से कम उपस्थिति वाले छात्रों को बोर्ड परीक्षा में शामिल होने की अनुमति नहीं दी जाएगी।
- 3: उपरोक्त पृष्ठभूमि के आलोक में आपसे अनुरोध है कि आप अपने जिले में कोचिंग संस्थानों की गतिविधियों पर नियंत्रण रखें। क्योंकि कोचिंग संस्थानों के समानांतर कार्यक्रम के कारण स्कूलों में छात्रों की उपस्थिति में अपेक्षित सुधार नहीं हो पा रहा है. उल्लेखनीय है कि वर्ष 2010 से प्रख्यापित इससे संबंधित अधिनियम के तहत आप उनकी गतिविधियों पर नियंत्रण रखने के लिए अधिकृत हैं। विभाग द्वारा इस संबंध में जल्द ही नियमावली भी प्रख्यापित की जायेगी। जिसमें आप कोचिंग संस्थानों के खिलाफ कार्रवाई करने या उन्हें दंडित करने या उनका पंजीकरण रद्द करने के लिए अधिकृत होंगे।
- 4: जब तक नियमावली प्रख्यापित नहीं हो जाती, आपसे अनुरोध है कि कोचिंग संस्थानों पर निम्नलिखित तरीके से चरणबद्ध कार्रवाई शुरू करें।
- प्रथम चरण: प्रथम चरण में एक अभियान के रूप में आप अपने जिले के सभी कोचिंग संस्थानों (चाहे वह किसी भी कक्षा अथवा प्रतियोगिता परीक्षा – बी. पी. एस. सी. / यू.पी.एस.सी. सहित) की सूची बना लें।
- द्वितीय चरण: दूसरे चरण में आप अपने स्तर पर इन कोचिंग संस्थानों के संचालकों की बैठक बुलाकर उन्हें निम्नलिखित के प्रति सचेत करें:-
- (क) उन्हें स्कूल के समय के दौरान अपने कोचिंग संस्थान नहीं चलाने चाहिए – यानी – सुबह 09:00 बजे से पहले और शाम 04:00 बजे के बीच। वे स्कूल अवधि से पहले या बाद में अपनी कक्षाएं संचालित करने के लिए पूरी तरह से स्वतंत्र होंगे।
- (ख) उन्हें अपने शिक्षण संकाय में किसी ऐसे व्यक्ति को नहीं रखना चाहिए जो स्वयं किसी अन्य सरकारी या गैर-सरकारी स्कूल का शिक्षक या कर्मचारी हो।
- (ग) यदि किसी कार्यरत सरकारी कर्मचारी/अधिकारी को कोचिंग संस्थानों के संचालक मंडल में रखा गया है तो वे अपनी जानकारी जिलाधिकारी को प्रस्तुत करें।
- तृतीय चरण: 16 अगस्त 2023 से 31 अगस्त 2023 तक अपने अधीनस्थ दंडाधिकारियों की प्रतिनियुक्ति करते हुए इन सभी कोचिंग संस्थानों का सघन निरीक्षण करें तथा प्रातः 9 बजे से सायं 4 बजे तक कोचिंग कार्य करते पाये जाने पर लिखित चेतावनी निर्गत की जायेगी।
- 5: 31 अगस्त 2023 के बाद यदि कोई कोचिंग संस्थान उपरोक्त को नजरअंदाज कर अपनी गतिविधियों में कोई सुधार नहीं लाता है, तो विभाग नियमानुसार आगे की कार्रवाई करने के लिए जल्द ही विस्तृत दिशा-निर्देश जारी करेगा।
बिहार में शाम 4 बजे के बाद खुलेंगे कोचिंग
बिहार की शिक्षा व्यवस्था में सुधार के लिए लगातार प्रयास किये जा रहे हैं, जिसके तहत कई नई व्यवस्थाएं लागू की जा रही हैं। जैसे छात्रों की 75 फीसदी उपस्थिति की अनिवार्यता, कक्षा 9वीं से 12वीं तक के विद्यार्थियों की मासिक परीक्षा आदि की व्यवस्था।
इसी कड़ी में बिहार शिक्षा विभाग की ओर से एक नया कदम उठाया गया है। इस बार बिहार के कोचिंग संस्थानों पर गाज गिरी है, बिहार के अंदर चल रहे सभी कोचिंग संस्थानों को लेकर एक नया आदेश जारी किया गया है। बिहार शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव श्री के.के. पाठक ने इस संबंध में सभी जिलों के जिलाधिकारियों को पत्र लिखा है, जिसमें कोचिंग संचालन को लेकर कई दिशा-निर्देश दिये गये हैं।
ऐसा आदेश क्यों जारी किया गया?
आपको बता दें कि राज्य में कोचिंग संस्थान सुबह 9 बजे से काम करना शुरू कर देते हैं. इस कारण अधिकांश छात्र स्कूल न जाकर कोचिंग में पढ़ते हैं और स्कूलों में उनकी उपस्थिति बहुत कम रहती है। कक्षा 9वीं से 12वीं तक के अधिकांश छात्रों की स्कूलों में उपस्थिति बहुत कम है। इसीलिए बोर्ड परीक्षा में शामिल होने के लिए 75 फीसदी उपस्थिति अनिवार्य करने का आदेश जारी किया गया है।
सरकारी शिक्षक कोचिंग नहीं पढ़ा सकते
सचिव में सभी जिलों के डीएम को बिहार कोचिंग कानून 2020 का सख्ती से पालन कराने को कहा है। उन्होंने अपने आदेश में कहा है कि बहुत से सरकारी शिक्षक भी इन कोचिंग सेंटर्स में जाकर पढ़ाते हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार आदेश में यह भी कहा गया है कि अगर कोई सरकारी टीचर किसी कोचिंग में पढ़ाते हुए पकड़े जाते हैं, तो उन पर सख्त कार्रवाई भी की जाएगी।