बिहार के नियोजित शिक्षकों की दक्षता परीक्षा को लेकर Additional Chief Secretary of the Bihar Education Department, KK Pathak की अध्यक्षता में एक कमेटी का गठन किया गया है। यह समिति उन नियोजित शिक्षकों पर विचार करने के लिए बनाई गई है जो तीन बार दक्षता परीक्षा में शामिल होने के बाद भी उत्तीर्ण नहीं होते हैं या शामिल नहीं होते हैं।
यह कमेटी एक सप्ताह के भीतर राज्य सरकार को अपनी अनुशंसा देगी। विभाग ने गुरुवार को कमेटी के गठन का आदेश जारी कर दिया है। जो नियोजित शिक्षक योग्यता परीक्षा में उत्तीर्ण नहीं होते हैं या तीन बार परीक्षा देने के बाद भी इसमें शामिल नहीं होते हैं, उन पर विचार करने के लिए एक कमेटी का गठन किया गया है, इसकी अध्यक्षता केके पाठक करेंगे।
दक्षता परीक्षा में 3 बार फेल होने पर क्या होगा
इस समिति में Bihar School Examination Board के अध्यक्ष, निदेशक प्राथमिक शिक्षा, निदेशक राज्य शिक्षा, अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद और निदेशक माध्यमिक शिक्षा को सदस्य के रूप में रखा गया है।
मालूम हो कि बिहार विद्यालय विशेष शिक्षक नियमावली, 2023 में प्रावधान है कि जो शिक्षक तीन बार मौका मिलने के बाद भी दक्षता परीक्षा पास नहीं करेंगे या उसमें शामिल नहीं होंगे, उन पर अलग से विचार किया जायेगा। इसी संदर्भ में इस समिति का गठन किया गया है, राज्य के साढ़े तीन लाख से अधिक नियोजित शिक्षकों को राज्य कर्मचारी का दर्जा देने के लिए योग्यता परीक्षा आयोजित की जा रही है।
इसके लिए 26 दिसंबर 2023 को राज्य कैबिनेट ने बिहार विद्यालय विशेष शिक्षक नियमावली 2023 को मंजूरी दे दी थी। इसके तहत नियोजित शिक्षक दक्षता परीक्षा देंगे और आवंटित विद्यालय में योगदान देंगे। उनके योगदान के साथ ही वे एक विशिष्ट शिक्षक कहलाये जायेंगे। इससे उन्हें बिहार लोक सेवा आयोग से बहाल शिक्षकों के अनुरूप वेतनमान और अन्य लाभ मिलने लगेंगे।
तीन जिलों का विकल्प मांगा जाएगा
विशेष शिक्षकों के पदों को स्थानांतरणीय बनाया गया है। प्रारंभ में, योग्यता परीक्षा में उपस्थित होने के समय, शिक्षकों को तीन जिलों का चयन करने के लिए कहा जाएगा जहां वे सेवा करना चाहते हैं। योग्यता परीक्षा में उनकी योग्यता रैंक के आधार पर, उन्हें उनकी पसंद के जिले में तैनात किया जाएगा।
विशेष शिक्षकों का स्थानांतरण सामान्यतः जिला शिक्षा अधिकारी द्वारा शिक्षा का अधिकार अधिनियम के तहत प्रतिबद्धताओं, छात्र-शिक्षक अनुपात या जनहित को ध्यान में रखते हुए जिले के अंतर्गत किया जाएगा।